मुंगेर, 19 नवंबर। वनवासी कल्याण आश्रम, बिहार का चौथा नगरीय कार्यकर्ता सम्मेलन सरस्वती शिशु मंदिर, सादीपुर में संपन्न हुआ। दो दिनों के सम्मेलन में 11 नगरों से कुल 68 कार्यकर्ता शामिल हुए। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि मुंगेर विश्वविद्यालय के कुलपति डॉक्टर रंजीत कुमार वर्मा ने कहा कि वनवासियों के पास ज्ञान, विज्ञान और तकनीक का भंडार है। उन्हें सहेजने एवं सम्मान देने की जरूरत है। वनवासी निरक्षर है लेकिन अशिक्षित नहीं है। संबोधन में उन्होंने मुंगेर को बिहार में शिक्षा सर्किट का केंद्र के रूप में विकसित करने की बात भी कही।
कार्यक्रम में क्षेत्रीय नगरीय कार्य प्रमुख प्रणय दत्त ने कहा कि वनवासी बंधुओं में धर्मांतरण की मुख्य समस्या गरीबी, शिक्षा एवं स्वास्थ्य की है। जिनका नाजायज फायदा मिशनरियों उठाती आ रही है। हम उनसे जुड़े हैं, जुड़ाव से धर्मांतरण की गति धीमी हुई है लेकिन अब तक रुकी नहीं है। हिंदुत्व एवं हिंदुस्तान की सुरक्षा के लिए जरूरी है वनवासी बंधुओं के साथ हमारा जुड़ाव हो।
बिहार के पूर्व विधान पार्षद हरेंद्र कुमार पांडे ने देश में ईसाई मिशनरियों द्वारा वनवासी समाज के धर्मांतरण की समस्या का सांख्यिकी आंकड़ा प्रस्तुत करते हुए सूचित किया कि वनवासी कल्याण आश्रम को और अधिक सक्रिय होना होगा। मिशनरियों ने धर्मांतरण के नए औजार विकसित किए हैं। उनसे निपटने के लिए हमें भी नए औजार विकसित करना होगा। प्रसिद्ध व्यवसायी विजय गोयनका ने अतिथियों का स्वागत किया।
मौके पर श्याम तापड़िया, शोभा जायसवाल, सुशील कुमार सिन्हा, विद्यालय के प्राचार्य अखिलेश पांडे, विनोद उपाध्याय, ललित मुर्मू, प्रोफेसर प्रदीप कुमार एवं कई सदस्य मौजूद थे।